2अगर ख़ुदावन्द उस वक़्त हमारी तरफ़ न होता, जब लोग हमारे ख़िलाफ़ उठे,
3तो जब उनका क़हर हम पर भड़का था, वह हम को ज़िन्दा ही निगल जाते।
4उस वक़्त पानी हम को डुबो देता, और सैलाब हमारी जान पर से गुज़र जाता।
5उस वक़्त मौजज़न, पानी हमारी जान पर से गुज़र जाता।